चार महीने बाद नए सत्र में खुला लखनऊ विश्वविद्यालय, कक्षाओं में कम रही छात्रों की उपस्थिति|

कोरोना संक्रमण व लॉकडाउन के बाद बंद हुआ लखनऊ विश्वविद्यालय छात्र-छात्राओं के लिए चार महीने बाद सोमवार से खुल गया। पहले दिन स्नातक व परास्नातक कक्षाओं में सुबह की पाली में उपस्थिति कम रही। छात्र-छात्राओं को भी कोविड प्रोटोकाल के अनुसार बैठाया गया।

कोरोना की वजह से बंद हुआ लखनऊ विश्वविद्यालय छात्र-छात्राओं के लिए चार महीने बाद सोमवार से खुल गया। पहले दिन स्नातक व परास्नातक कक्षाओं में सुबह की पाली में उपस्थिति कम रही। भौतिक विज्ञान, दर्शन शास्त्र, शिक्षा शास्त्र, डिफेंस स्टडीज सहित सहित कई विभागों में बहुत कम संख्या में विद्यार्थी पहुंचे। हालांकि शिक्षकों ने अपनी कक्षाएं लीं। छात्र-छात्राओं को भी कोविड प्रोटोकाल के अनुसार बैठाया गया था।

चार महीने बाद नए सत्र में खुला लखनऊ विश्वविद्यालय, कक्षाओं में कम रही छात्रों की उपस्थिति
कोरोना संक्रमण व लॉकडाउन के बाद बंद हुआ लखनऊ विश्वविद्यालय छात्र-छात्राओं के लिए चार महीने बाद सोमवार से खुल गया। पहले दिन स्नातक व परास्नातक कक्षाओं में सुबह की पाली में उपस्थिति कम रही। छात्र-छात्राओं को भी कोविड प्रोटोकाल के अनुसार बैठाया गया।

लखनऊ विश्वविद्यालय लॉकडाउन के बाद फिर से खुला।

लखनऊ, जागरण संवाददाता। कोरोना की वजह से बंद हुआ लखनऊ विश्वविद्यालय छात्र-छात्राओं के लिए चार महीने बाद सोमवार से खुल गया। पहले दिन स्नातक व परास्नातक कक्षाओं में सुबह की पाली में उपस्थिति कम रही। भौतिक विज्ञान, दर्शन शास्त्र, शिक्षा शास्त्र, डिफेंस स्टडीज सहित सहित कई विभागों में बहुत कम संख्या में विद्यार्थी पहुंचे। हालांकि शिक्षकों ने अपनी कक्षाएं लीं। छात्र-छात्राओं को भी कोविड प्रोटोकाल के अनुसार बैठाया गया था।

अप्रैल में कोरोना की वजह से लॉकडाउन हो गया था। लखनऊ विश्वविद्यालय सहित सभी शैक्षणिक संस्थान बंद कर दिए गए थे। अब कोरोना संक्रमण पर नियंत्रण होने के बाद सोमवार से विश्वविद्यालय फिर से खुल गया। गेट पर सैनेटाइजर की व्यवस्था की गई थी। कर्मचारियों ने विद्यार्थियों के हाथों को सैनेटाइज कराकर अंदर जाने दिया। अर्थशास्त्र विभाग में सुबह 8.25 मिनट पर एक फैकल्टी पढ़ाने के लिए भी मौजूद थीं। लेकिन कोई भी छात्र-छात्राएं नहीं आए। फिजिक्स विभाग में शिक्षक ओंकार प्रसाद अपनी कक्षा में पढ़ाते नजर आए। डिफेंस स्टडीज विभाग में पांचवे सेमेस्टर की कक्षा में सिर्फ पांच छात्र-छात्राएं आए। शिक्षकों ने उन्हें कक्षाओं के शेड्यूल और सिलेबस के बारे में बताया। शिक्षा शास्त्र में बीएड, एमएड की पढ़ाई शुरू हो गई। प्राचीन भारतीय इतिहास एवं पुरातत्व विभाग में छात्र संख्या कम थी। सुबह 11.10 बजे पहली कक्षा प्रोफेसर प्रशांत श्रीवास्तव ने ली। यहां 17 विद्यार्थियों ने उपस्थिति दर्ज कराई। कला एवं शिल्प महाविद्यालय के ललित कला विभाग में छात्र संख्या कम रही। किसी विभाग में छह तो कहीं सात छात्र ही आए।

कुलपति ने किया निरीक्षण: पहले दिन कक्षाओं का हाल जानने कुलपति प्रो. आलोक कुमार राय भी विभागों में पहुंचे। जियोलाजी, जूलॉजी और मैनेजमेंट में छात्र संख्या कम रही। जो भी विद्यार्थी आए, उनकी कक्षाएं हुईं। कुलपति ने विद्यार्थियों को शुभकामनाएं दीं।

लखनऊ विश्‍वविद्यालय के चीफ प्राक्टर प्रो. दिनेश कुमार ने कहा कि विश्वविद्यालय अपनी तैयारी के साथ खुल गया है। लेकिन पहले दिन सुबह 25 फीसद विद्यार्थी ही उपस्थित रहे। गेट पर सैनेटाइजर सहित सभी व्यवस्थाएं की गई हैं।

Source: Dainik jagran

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