लखनऊ यूनिवर्सिटी में छात्रों, बजुर्ग शिक्षकों और कर्मचारियों के लिए शुरू हुई निःशुल्क ई-रिक्शा की सुविधा
➡लखनऊ विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. आलोक कुमार राय ने सबसे पहले विश्वविद्यालय के छात्रों और विकलांग कर्मचारियों के लिए पांच ई-रिक्शा सुविधा का उद्घाटन किया।
➡ये ई-रिक्शा विश्वविद्यालय के मुख्य द्वार पर लगाए जाएंगे और विश्वविद्यालय के छात्र और कर्मचारी भी इस सुविधा का नि:शुल्क उपयोग कर सकते हैं।
➡छात्रों के लिए सीपीएमटी भवन में एक विशेष स्टूडेंट फैसिलिटी का शुभारंभ कुलपति प्रो. आलोक कुमार राय ने किया।
➡इस विशेष स्टूडेंट फैसिलिटी में छात्रों के बैठने के लिए आरामदायक सोफे, वाईफाई, कॉफी मशीन, एयर कंडीशन की सुविधा उपलब्ध है।
खनऊ यूनिवर्सिटी में दिव्यांग विद्यार्थियों और कर्मचारियों के अलावा बुजुर्ग शिक्षकों और कर्मचारियों को कैंपस में दूर तक पैदल नहीं चलना पड़ेगा। एलयू ओल्ड परिसर में फ्री ई-रिक्शा सुविधा से यह समस्या दूर होगी। लखनऊ विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. आलोक कुमार राय ने बीते गुरुवार को 5 ई-रिक्शों की शुरुआत की। प्रो आलोक कुमार ने एलयू के कुलपति के तौर पर अपने दूसरे साल का कार्यकाल पूरा कर छात्र केंद्रित सुविधाओं के लिए नए सीपीएमटी भवन का आगाज किया। यहां, उन्होंने छात्र लाउन्ज का उद्धघाटन किया, जो कॉफी वेंडिंग मशीन और अन्य सुविधाओं से लैस है , उन्होंने नवनिर्मित डीन कल्याण कार्यालय का भी उद्घाटन किया।
लखनऊ यूनिवर्सिटी का पूरा परिसर है नो व्हीकल जोन
लखनऊ यूनिवर्सिटी के पूरे परिसर को ‘नो व्हीकल जोन’ बनाया गया है ताकि कैंपस पूरी तरह स्वच्छ और शांत रहे। इसी कड़ी में कैंपस के अंदर आने जाने के लिए इन 5 ई-रिक्शों को चलाया गया है। इसके साथ ही छात्रों के लिए सीपीएमटी भवन में एक विशेष स्टूडेंट फैसिलिटी का शुभारंभ कुलपति प्रो. आलोक कुमार राय ने किया। इस विशेष स्टूडेंट फैसिलिटी में छात्रों के बैठने के लिए आरामदायक सोफे, वाईफाई, कॉफी मशीन, एयर कंडीशन की सुविधा उपलब्ध है। छात्र और शिक्षक इसका पूरा लाभ उठा सकतें हैं और यहां कांफ्रेंस जैसे कार्यक्रम भी आयोजित होंगे। इस लाउन्ज में 30 लोगों के बैठने की सुविधा है।
कुलपति प्रो. आलोक कुमार राय ने मीडिया को बताया कि लखनऊ यूनिवर्सिटी से चार नए जिले रायबरेली, हरदोई, सीतापुर, लखीमपुर खीरी जुड़े। लखनऊ यूनिवर्सिटी एनआईआरएफ रैंकिंग प्राप्त करने वाली राज्य की पहली यूनिवर्सिटी है। इसके साथ ही कोरोना के कारण आर्थिक तंगी से जूझ रहे छात्रों को राहत देने के लिए यूनिवर्सिटी ने इस साल छात्रों के परीक्षा शुल्क में 25 प्रतिशत की कटौती की।